Saturday, May 4, 2024
बस्ती मण्डल

धार्मिक आयोजन से अच्छे विचार प्राप्त होते है और भागवत कथा सुनने से मिलती है दुख से मुक्ति-डा. उदय प्रताप चतुर्वेदी

संतकबीरनगर।(कालिन्दी मिश्रा)विकास खंड खलीलाबाद अन्तर्गत ग्राम सभा विश्वनाथपुर में श्रीमद्भागवत कथा का आयोजन किया गया। भागवत कथा में मुख्य अतिथि में पहुंचे सूर्या इंटर नेशनल सीनियर सकेण्ड्री स्कूल के प्रबन्ध निदेशक व समाज सेवी डा. उदय प्रताप चतुर्वेदी ने कथा वचक विद्याधर भारद्वाज जी महराज का माल्यार्पण कर उनका स्वागत किया। मुख्य अतिथि डा. उदय प्रताप चतुर्वेदी ने कहा कि धार्मिक कार्य करने से हम सभी लोगो के मन को अद्भुत आनन्द प्राप्त होता है, तथा समाज में व्याप्त बुराईया समाप्त हो जाती है। एैसे धार्मिक आयोजन में हम सभी लोगो को भाग लेना चाहिए। धर्म करने मात्र से हमे चारों प्रकार के पुरूषार्थ प्राप्त होते है। धर्म, अधर्म काम मोक्ष बड़े ही आसानी से प्राप्त हो सकते है। कथा वाचक विद्याधर भारद्वाज ने कहा कि भागवत-कथा के श्रावण मात्र से मुक्ति हाथ लगती है। भागवत में अठारह हजार श्लोक है, और यह शुकदेव-परीक्षित का संवाद है जिस घर में नित्यप्रति भागवत कथा होती है, वह घर तीर्थरूप होजाता है जो लोग उसमे रहते है, उनके सारे पाप नष्ट हो जाते है। मनुष्य अंत समय में भी भागवत सुन लेता है, उसे प्रभु वैकुण्ठ धाम भेज देते है। करोड़ो जन्मों के पुण्य उदय होते है तभी भागवत की प्राप्ति होती है-भागवत की महत्ता सुनकर शौनकजी ने पूछा-सूतजी! भागवत मोक्ष की प्राप्ति में सभी साधनों से कैसे आगे बढ़ गया। सूतजी ने कहा कि भगवान श्रीकृष्ण जब अपने स्वधाम को पधारने लगे तो उद्धव ने उनसे कहा कि आप तो जा रहे हैं, अब इस घोर कलियुग में साधु, संत, सज्जनों की रक्षा कौन करेगा और उनके जीवन का सहारा क्या होगा। इसलिए आप उनके हितमें यहाँ से न जाइये। इस पर भगवान सोचने लगे कि भक्तो के अवलम्बन के लिए मुझे क्या व्यवस्था करनी चाहिए। कार्यक्रम में पहुंचे मुख्य अतिथि डा. उदय प्रताप चतुर्वेदी का कथा आयोजकों ने फूलमाला पहनाकर भव्य स्वागत किया। इस अवसर पर कथा आयोजक धीरज पाण्डेय, सचिव पाण्डेय, निहाल चन्द्र पाण्डेय, सुबाष तिवारी, बलराम यादव समेत तमाम लोग मौजूद रहें।