Saturday, May 18, 2024
हेल्थ

जरूरतमंदों को ब्लड बैंक से निशुल्क मिल रहा है खून

– छह माह में जिला अस्पताल से दिया गया है 172 यूनिट ब्लड

बस्ती। जननी सुरक्षा योजना, एनआरसी में भर्ती मरीज सहित अन्य जरूरतमंदों को ब्लड बैंक से पूरी तरह निशुल्क खून मुहैया कराया जा रहा है। विगत छह माह में जिला अस्पताल के ब्लड बैंक से 172 यूनिट खून ऐसे मरीजों को मुहैया कराया जा चुका है। ब्लड बैंक की यह व्यवस्था गंभीर व लावारिस मरीजों के लिए वरदान साबित हो रही है।
जिला अस्पताल के ब्लड बैंक के इंचार्ज डॉ. दीपक श्रीवास्तव ने बताया कि ब्लड बैंक से सरकारी अस्पताल में भर्ती मरीज को ब्लड देने के लिए कोई फीस नहीं ली जाती है, लेकिन जितना खून लिया जाता है उतनी यूनिट मरीज के परिजन को डोनेट करना होता है। लेकिन जेएसवाई, लावारिस मरीज, ब्लड कैंसर, पोषण पुनर्वास केंद्र में भर्ती मरीज को बिना डोनर के ही ब्लड उपलब्ध कराया जा रहा है। जिला महिला अस्पताल व सीएचसी हर्रैया में जननी सुरक्षा योजना वाले मरीजों को सर्वाधिक यह सुविधा मुहैया कराई जा रही है। छह माह में 142 यूनिट जेएसवाई मरीज को खून उपलब्ध कराया जा चुका है। थैलेसीमिया के 13, कैंसर के पांच, लावारिस तीन, एक्सीडेंट के मरीज को पांच व एनआरसी में भर्ती मरीज को 25 यूनिट ब्लड उपलब्ध कराया जा चुका है। उन्होंने बताया कि सरकारी अस्पताल के पर्चे पर यह सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है।

ब्लड डोनर की होती है निशुल्क जांच-
ब्लड डोनेट करने से पूर्व
वेट, बीपी, पल्स, हीमोग्लोबीन

ब्लड डोनेट करने के बाद
एचआईवी, हेपेटाईिटस बी व सी, मलेरिया, सिफलिस

खून चढ़ने से चार साल की रूबी की हालत सुधरी
एनआरसी वार्ड में भर्ती हल्लौर, डुमरियागंज की चार साल की रूबी की हालत में सुधार नजर आ रहा है। उसके बदन में तीन ग्राम खून था। दोनों पैर में सूजन है। डॉ. सरफराज ने जांच के बाद उसका इलाज शुरू किया। उसका ब्लड ग्रुप एबी पॉजिटिव है। गुरुवार को जिला अस्पताल के ब्लड बैंक से एक यूनिट निशुल्क खून मिला। खून चढ़ने के बाद से उसकी हालत में सुधार हुआ। पिता मनोज का कहना था कि स्थानीय स्तर पर इलाज कराया, फायदा नहीं हो रहा था। एक जानने वाले ने एनआरसी में ले जाने की सलाह दी थी।
जिला अस्पताल में भर्ती लावारिस सोनी (60) के फ्रैक्चर होने के बाद उसे यहां लाया गया था। डॉ. एसके सिंह उसका इलाज कर रहे हैं। 26 व 27 अक्टूबर को दो दिन दो यूनिट ब्लड उसे चढ़ाया गया। ब्लड बैंक से उसे निशुल्क ब्लड दिया गया। उसकी हालत स्थिर है। जिला अस्पताल के चिल्ड्रेन वार्ड में भर्ती डेढ़ साल की निकिता के शरीर में तीन ग्राम खून बचा था। कोई डोनर न होने के कारण उसे दो यूनिट ब्लड उपलब्ध कराया गया। डॉ. सरफराज उसका इलाज कर रहे हैं।