Monday, May 20, 2024
बस्ती मण्डल

जीवन के उद्देश्य की प्राप्ति में सत्संग की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण – आलोकानंद

बस्ती। जीवन को समृद्धिशाली बनाने और सुधारने के लिए सत्संग मूलाधार है। जीवन के उद्देश्य की प्राप्ति में सत्संग की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण होती है। श्रेष्ठ और सात्विक जनों का संग करना, उत्ताम पुस्तकों का सत्संग, पवित्र और धार्मिक वातावरण का संग करना, यह सब सत्संग के अंतर्गत आता है। सत्संग हमारे जीवन के लिए उतना ही आवश्यक है, जितना कि शरीर के लिए भोजन। सत्संग जीवन को निर्मल और पवित्र बनाता है। ये बातें बस्ती जिला मुख्यालय पर आयोजित श्रीमद भागवत कथा में शनिवार की रात कथावाचक स्वामी आलोकानंद शास्त्री ने कही।
कथावाचक ने लोगो से आह्वान करते हुए कहा कि जहाँ भी श्रीमद् भागवत कथा, श्रीराम कथा, हनुमान कथा अथवा अन्य कथा प्रवचन और धार्मिक आयोजन हो, उसमें अवश्य सम्मिलित होना चाहिए। साथ ही दूसरों को भी प्रेरित करना चाहिए। उन्होने कहा कि सत्संग मन के बुरे विचारों व पापों को दूर करता है। सत्संगति मूर्खता को हर लेती है, वाणी में सत्यता का संचार करती है। दिशाओं में मान-सम्मान को बढ़ाती है, चित्त में प्रसन्नता को उत्पन्न करती है और दिशाओं में यश को विकीर्ण करती है। वस्तुत: सत्संगति मनुष्य का हर तरह से कल्याण करती है। जैसे प्रात:काल का भोजन सायंकाल तक और सायंकाल का भोजन रात्रिभर शरीर को ऊर्जा प्रदान करता है। ऐसे ही सुबह किया हुआ सत्संग पूरे दिन हमें अधर्म और पाप से बचाए रखता है। सायंकाल का सत्संग हमें कुत्सित विचारों से बचाता है। मानव सत्संग से सुधरता है और कुसंग से बिगड़ता है। इस दौरान अंकित त्रिपाठी, अशोक त्रिपाठी, भोला आदि मौजूद रहे।