Tuesday, July 2, 2024
हेल्थ

स्कूली बच्चों को प्रेरित कर करवा रहे कोविड टीकाकरण

कोविड अनुरूप व्यवहार के बारे में पोस्टर और प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता कर रहे आयोजित

गोरखपुर,स्वास्थ्य विभाग 12 से 14 आयु वर्ग के स्कूली बच्चों को प्रेरित कर और उनके अभिभावकों की सहमति से कोविड टीकाकरण करवाने में जुटा है । इस कार्य में शहर के भीतर व पाली ब्लॉक में स्वयंसेवी संस्था यूनिसेफ-एलाइंस फॉर इम्यूनाइजेशन एंड हेल्थ ड्रिस्ट्रिक्ट (एआईएच) भी मदद कर रही हैं। संस्था की क्लस्टर सखी द्वारा स्कूल में कोविड अनुरूप व्यवहार के संबंध में पोस्टर और प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिताओं का भी आयोजन कराया जाता है। इन आयोजनों के जरिये ही कोविड टीकाकरण के महत्व पर भी चर्चा होती है और फिर स्कूल से बच्चों की सूची लेकर स्वास्थ्य विभाग को दी जाती है । विभाग की टीम नियत तिथि पर कैंप लगाकर बच्चों का टीकाकरण करती है ।

महानगर के एनटी चिल्ड्रेन एकेडमी की कक्षा सातवीं की छात्रा जोया खातून (14) का कहना है कि परिवार के लोगों ने टीका लगवाया था लेकिन उन्हें टीके से डर लगता था। स्कूल में क्लस्टर सखी आरती आई थीं। स्कूल में यह बताया गया कि कोविड का टीका न केवल बीमारी से बचाता है, बल्कि उसके खतरनाक प्रभावों से भीबचाता है। यह भी बताया गया कि टीके को लगवाने में कोई खास दर्द या दिक्कत नहीं होती है। थोड़ी देर के लिए कुछ लोगों को बुखार हो सकता है लेकिन वह भी ठीक हो जाता है । वह बताती हैं – टीका लगवाने के दौरान उन्हें कोई दिक्कत महसूस नहीं हुई। स्कूल के प्रधानाचार्य ने उनके पापा को बताया था कि जोया को टीका लगेगा। पापा ने भी टीका लगवाने से मना नहीं किया । टीका लगने के बाद जोया को बुखार आया था लेकिन एक दिन में ही ठीक हो गया । वह कहती हैं कि टीका लगने के बाद भी वह मास्क और हाथों की स्वच्छता के नियमों का पालन कर रही हैं ।

शहर के घासीकटरा स्थित मुर्तजा हुसैन मेमोरियल हायर सेकेंडरी स्कूल के प्रधानाचार्य मो. सिद्दीक ने बताया कि उनके स्कूल में पहले यूनिसेफ-एआईएच संस्था की टीम आई और पोस्टर एवं प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता का आयोजन करवाया। इसमें 50 बच्चे शामिल हुए थे। संस्था के लोग स्कूल के बच्चों की सूची लेकर गये और स्वास्थ्य विभाग की टीम को भेजा । कैंप से पहले अभिभावकों से सहमति ली। कुछ अभिभावकों ने कैंप में टीका लगवाने से मना कर दिया तो उन्हें कहा गया कि वह किसी भी सत्र स्थल पर टीकाकरण करवा कर प्रमाण पत्र स्कूल में जमा करें। कुल 62 बच्चों का टीकाकरण करवाया गया ।

इस्लामचक शहरी स्वास्थ्य केंद्र के प्रभारी चिकित्सा अधिकारी डॉ फैसल सिद्दीकी कहते हैं कि उनके क्षेत्र में चल रही मुस्कान एक्सप्रेस और स्कूल में हो रहे गतिविधियों से टीकाकरण का ग्राफ बढ़ा है। क्षेत्र में 12 से 14 आयु वर्ग के करीब 550 बच्चे हैं जिनमें से करीब 70 फीसदी का टीकाकरण कैंप लगवा कर किया जा चुका है। टीकाकरण का विरोध करने वाले लोगों के साथ साप्ताहिक सामुदायिक बैठकें करके भी टीकाकरण के लिए प्रेरित किया जा रहा है।

*यह गतिविधियां हो रहीं*

एआईएच संस्था की जिला समन्वयक प्रियंका सिंह ने बताया कि शहर के 27 और पाली ब्लॉक के 25 स्कूलों में गतिविधियां कराई जा चुकी हैं, जिनमें 2496 विद्यार्थियों ने प्रतिभाग किया । पोस्टर प्रतियोगिता में 1377 बच्चों ने जबकि प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता में 1119 बच्चों ने प्रतिभाग किया । सामुदायिक स्तर और स्कूल की गतिविधियों से लोग टीकाकरण के लिए आगे आ रहे हैं ।

*प्रयास जारी है*

स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं और सहयोगी संगठनों के जरिये टीकाकरण का ग्राफ सुधारने का प्रयास चल रहा है । जिले में 18 से अधिक आयु वर्ग के 102.4 प्रतिशत लोगों ने टीके की पहली डोज, जबकि 99.3 फीसदी लोगों ने दोनों डोज लगवा ली है। पंद्रह से सत्रह आयु वर्ग में 100.8 फीसदी किशोरों ने पहली डोज, जबकि 90.9 फीसदी ने दूसरी डोज लगवा ली है। बारह से चौदह आयु वर्ग में 98.9 फीसदी बच्चों ने टीके की पहली डोज ले ली है। चिंता का विषय दूसरी डोज का टीकाकरण है जो महज 62.7 फीसदी है । इस स्थिति को सुधारने का प्रयास किया जा रहा है।