Friday, July 5, 2024
बस्ती मण्डल

श्रीमद्भागवत कथा के छठे दिन श्रीकृष्ण व रुक्मिणी विवाह की झांकी प्रस्तुत कर विवाह संस्कार की रस्मों का वर्णन किया गया

बस्ती। उर्मिला एजुकेशनल एकेडमी परिसर बस्ती में आयोजित सप्त दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा के छठे दिन कथावाचक स्वामी श्री राघवाचार्य जी महाराज ने उधव चरित्र, महारासलीला व रुक्मिणी विवाह का वर्णन किया। कथावाचक ने कहा कि गोपियों ने भगवान श्रीकृष्ण से उन्हें पति रूप में पाने की इच्छा प्रकट की। भगवान श्रीकृष्ण ने गोपियों की इस कामना को पूरी करने का वचन दिया। अपने वचन को पूरा करने के लिए भगवान ने महारास का आयोजन किया। इसके लिए शरद पूर्णिमा की रात को यमुना तट पर गोपियों को मिलने के लिए कहा गया। सभी गोपियां सज-धजकर नियत समय पर यमुना तट पर पहुंच गईं। कृष्ण की बांसुरी की धुन सुनकर सभी गोपियां अपनी सुध-बुध खोकर कृष्ण के पास पहुंच गईं। उन सभी गोपियों के मन में कृष्ण के नजदीक जाने, उनसे प्रेम करने का भाव तो जागा, लेकिन यह पूरी तरह वासना रहित था। इसके बाद भगवान ने रास आरंभ किया। माना जाता है कि वृंदावन स्थित निधिवन ही वह स्थान है, जहां श्रीकृष्ण ने महारास रचाया था। यहां भगवान ने एक अद्भुत लीला दिखाई थी, जितनी गोपियां उतने ही श्रीकृष्ण के प्रतिरूप प्रकट हो गए। सभी गोपियों को उनका कृष्ण मिल गया और दिव्य नृत्य व प्रेमानंद शुरू हुआ। रुक्मिणी विवाह का वर्णन करते हुऐ कहा कि भगवान श्रीकृष्ण ने सभी राजाओं को हराकर विदर्भ की राजकुमारी रुक्मिणी को द्वारका में लाकर उनका विधिपूर्वक पाणिग्रहण किया। आकर्षक वेश-भूषा में श्रीकृष्ण व रुक्मिणी विवाह की झांकी प्रस्तुत कर विवाह संस्कार की रस्मों को पूरा किया गया। कथा के साथ-साथ भजन संगीत भी प्रस्तुत किया गया।

तथा आज दिनांक 02/04/2024 दिन मंगलवार को श्री सुदामा चरित्र, परिक्षित मोक्ष, शुकदेव विदाई एवं व्यास पूजन कथा, कथा व्यास स्वामी राघवाचार्य जी महाराज द्वारा प्रात: 10 से प्रारंभ होगी भागवत कथा का कार्यक्रम उर्मिला एजुकेशनल एकेडमी रोडवेज बस्ती के प्रांगण में हो रहा है ।
मुख्य यजमान धीरेंद्र शुक्ला व बागेश्वरी शुक्ला रही। चंद्र भूषण मिश्रा, सतप्रकाश त्रिपाठी, विनय शुक्ल, डॉ राजन शुक्ला, अशोक कुमार पांडेय, प्रिंस शुक्ल, नरेंद्र सिंह मौजूद रहे।